ज्ञान की कविता :- भ्रम की पोटली | Gyan Ki Kavita

आप पढ़ रहे रहे हैं ( Gyan Ki Kavita ) ज्ञान की कविता :- ज्ञान की कविता कब तक चलते रहोगे। लेकर भ्रम की पोटली को हाथ में। मेरे बाद में कैसे, क्या होगा, मेरे परिवार के साथ में। यहां कोई किसी का नही, यहां पालते है सब भ्रम को।…

Continue Readingज्ञान की कविता :- भ्रम की पोटली | Gyan Ki Kavita

कविता मेरा देश मेरा मान | Mera Desh Mera Maan Kavita

आप पढ़ रहे हैं ( Mera Desh Mera Maan Kavita ) कविता मेरा देश मेरा मान :- कविता मेरा देश मेरा मान धरती अम्बर सूरज नभ पर गाते जिसका गान, अलग अलग जहाँ बोली भाषा करते सबका सम्मान मेरा देश मेरा मान,,, खूब खेली खून की होली लाल रक्त बहाये…

Continue Readingकविता मेरा देश मेरा मान | Mera Desh Mera Maan Kavita

कविता क्या लिखूँ | Hindi Kavita Kya Likhun

आप पढ़ रहे हैं ( Hindi Kavita Kya Likhun ) कविता क्या लिखूँ :- कविता क्या लिखूँ कुछ गहरा सा लिखना था, कविता से ज्यादा क्या लिखूँ ? कुछ कीर्तन सा लिखना था, आरती से ज्यादा क्या लिखूँ ? कुछ ठहरा सा लिखना था, दर्द से ज्यादा क्या लिखूँ ?…

Continue Readingकविता क्या लिखूँ | Hindi Kavita Kya Likhun

पिता पर कविता – श्रद्धेय पिता जी | Pita Par Kavita

आप पढ़ रहे हैं ( Pita Par Kavita ) पिता पर कविता :- पिता पर कविता पूज्य पिता जी की,कोमल छांव को किन शब्दों में उल्लेख करूँ । निर्णय लिया आज जीवन की पुस्तक के उन,पन्नों को पढ़ लूं । प्रतीत ऐसा हो रहा, मैं अतीत आज, वर्तमान बना लूं…

Continue Readingपिता पर कविता – श्रद्धेय पिता जी | Pita Par Kavita