अंकेश धीमान जी ने बड़ौत रोड़ बुढ़ाना जिला मु.नगर, उत्तर प्रदेश से हैं।

देशभक्ति कविता : हिंद की ओर | Desh Bhakti Kavita

देशभक्ति कविता : हिंद की ओर सहज-सहज, प्रभु को सिमर-सिमर। पग चले, प्रगति स्वर्ण, हिंद की ओर। धूमिल न हो राष्ट्र, छवि, विश्व पटल पर। चले सर्वत्र क्षण, स्वच्छता का उपक्रम। क्षण-क्षण, सदन-कुंज में हो प्रेम सदा। धीमें से चले, पग हिंद, उत्थान की ओर। प्रभु में विलीन हो, सर्व…

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प्रकृति वर्णन पर कविता | Prakriti Soundarya Par Kavita

प्रकृति वर्णन पर कविता झर-झर, झर झर, निर्झर, निशा नीर गिरे। कल-कल, करतल ध्वनि, तरंगिनी करें। चारू-चंचल, किरणें, मधुर समीर बहें। मृदु भूमि, शशी पूर्ण चांदनी सलील लगे।। झर-झर, झर-झर, झरने, रह, रह मधु नीर बहें। भूधर, उपवन, विचरण कर, सिंह शूर हिंद खड़े। सहज, समीर, सिमर प्रभु को वृक्ष…

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गुरु पर हिंदी कविता – नमन तुम्हें | Hindi Poem On Guru

गुरु चरणों में नमन करते हुए ( Hindi Poem On Guru ) गुरु पर हिंदी कविता :- गुरु पर हिंदी कविता गुरु देव श्री चरणों में नमन तुम्हें करते हैं।शीष नवा स्तुति हम तुम्हें करतें है। बलिहारी जाऊं प्रति क्षण तुम पर ।सर्वोच्च मानव धर्म का पाठ तुम पढ़ाते हो।सुलझे…

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ईश्वर भक्ति पर कविता – आप यहां आप वहां | Bhakti Kavita

प्रभु की महिमा का गुणगान करती हुयी ( Ishwar Bhakti Kavita In Hindi ) ईश्वर भक्ति पर कविता " आप यहां आप वहां " :- ईश्वर भक्ति पर कविता आप यहां, आप वहां, सर्वत्र ही आप हैं। आप ही, तो युग आत्मा का, सच्चा प्यार हैं।। आप करुणा, सहानुभूति, सृष्टि…

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हिंदी कविता : फतह कर अब | कोरोना को हारने पर हिंदी कविता

आप पढ़ रहे हैं हिंदी कविता : फतह कर अब ( Hindi Kavita Fatah Kar Ab ) :- हिंदी कविता : फतह कर अब मानव धमनियां , शिथिल भूमि पर, अब होने लगी। संकट में, भूमि तेरी प्रभु, चितकार अब होने लगी।। उमंग आशा की, नव तरंग सी, सुंदर दिखलाई…

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हिंदी कविता – विपदा वीर हम | Hindi Kavita Vipda Veer Hum

आप पढ़ रहे हैं अंकेश धीमान जी द्वारा रचित ( Hindi Kavita Vipda Veer Hum ) हिंदी कविता - विपदा वीर हम :- हिंदी कविता - विपदा वीर हम विपदा वीर हम, विश्व धरा, सन्नाटा चाहूँ ओर ऐसे। मानवधर्म रक्षक, प्रहरी हिंद प्रत्यक्ष प्रमाण बने जैसे। प्रभंजन अदृश्य शत्रु, हम…

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